जर्नल प्रविष्टि के लिए स्रोत दस्तावेज़ (Source Document for Journal Entry)

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लेखांकन में जो भी कार्य किया जाता है वह स्रोत दस्तावेज पर आधारित होता है क्योंकि लेखांकन में कोई भी कार्य अपनी इच्छा से नहीं किया जा सकता है इसीलिए जर्नल प्रविष्टियां पारित करने से पहले संबंधित स्रोत दस्तावेज का होना आवश्यक होता है। उदाहरण के लिए, खरीद लेनदेन की प्रविष्टि पारित करने के लिए खरीद बिल/चालान/पर्ची का होना आवश्यक होता है, इसी प्रकार विक्री की प्रविष्टि पारित करने के लिए विक्री बिल/चालान/पर्ची का होना आवश्यक होता है।

लेखांकन में, प्रत्येक दस्तावेज़ जर्नल प्रविष्टि का स्रोत होता है, लेकिन शर्त यह है कि दस्तावेज़ एक आर्थिक गतिविधि करता हो। जर्नल प्रविष्टियों के लिए प्रत्येक सहायक दस्तावेज़ को एक कानूनी दस्तावेज़ माना जाता है और इसे दस्तावेज़ी साक्ष्य (Documentary Evidence) के रूप में कानून द्वारा समर्थित किया जाता है। बिक्री बिल, खरीद बिल, नकद रसीद, चेक, भुगतान पर्ची, डेबिट और क्रेडिट नोट, बैंक स्टेटमेंट, आदि जर्नल प्रविष्टि के लिए स्रोत दस्तावेज़ के कुछ उदाहरण हैं।

जर्नल प्रविष्टि के लिए स्रोत दस्तावेज़ (Source Document for Journal Entry)

जर्नल प्रविष्टि के लिए स्रोत दस्तावेज़ (Source Document for Journal Entry)

जर्नल प्रविष्टि के लिए स्रोत दस्तावेज़ निम्नलिखित हैं:

1. बिक्री बिल (Sale Bill):

बिक्री बिल या चालान एक ऐसा दस्तावेज़ है जिसका इस्तेमाल उत्पाद बेचते समय किया जाता है। यह इस बात का सबूत होता है कि किसी को सामान बेचा गया है और यह नकद या उधार पर आधारित हो सकता है। यदि उत्पाद नकद में बेचा जाता है तो नकद बिल जारी किया जाता है और यदि उत्पाद उधार पर बेचा जाता है तो उधार बिल जारी किया जाता है। ध्यान दें: जिस व्यक्ति को यह बिल प्राप्त होता है, उसके लिए यह एक खरीद बिल बन जाता है।

बिक्री बिल/चालान की सामग्री:

  • दस्तावेज़ संख्या (Document Number)
  • दस्तावेज़ की तारीख (Date of Document)
  • विक्रेता का विवरण (Seller Details)
  • क्रेता का विवरण (Buyer Details)
  • आइटम विवरण (Item Description)
  • मात्रा (Quantity)
  • मूल्य (Price)
  • कुल (Total), और
  • अन्य महत्वपूर्ण विवरण आदि।

2. खरीद बिल (Purchase Bill):

खरीद बिल या चालान एक ऐसा दस्तावेज़ है जो उत्पाद की खरीद के समय प्राप्त होता है और यह उत्पाद खरीद का प्रमाण होता है जिसे विक्रेता खरीदार को देता है। यह नकद या उधार पर आधारित होता है। यदि उत्पाद नकद में खरीदा जाता है तो नकद बिल प्राप्त होता है और यदि उत्पाद उधार पर खरीदा जाता है तो उधार बिल प्राप्त होता है। ध्यान दें: यह उस व्यक्ति के लिए बिक्री बिल है जो इसे देता है।

खरीद बिल/चालान की सामग्री:

  • दस्तावेज़ संख्या (Document Number)
  • दस्तावेज़ की तारीख (Date of Document)
  • विक्रेता का विवरण (Seller Details)
  • क्रेता का विवरण (Buyer Details)
  • आइटम विवरण (Item Description)
  • मात्रा (Quantity)
  • मूल्य (Price)
  • कुल (Total), और
  • अन्य महत्वपूर्ण विवरण आदि।

3. नकद रसीद (Cash Receipt):

नकद रसीद एक ऐसा दस्तावेज़ है जो नकद की प्राप्ति और भुगतान को प्रमाणित करता है, इसलिए यह नकद लेनदेन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। जब किसी पार्टी को नकद भुगतान किया जाता है, तो भुगतानकर्ता को नकद रसीद मिलती है और जब किसी पार्टी से नकद प्राप्त होता है, तो प्राप्तकर्ता नकद रसीद जारी करता है।

नकद रसीद की सामग्री:

  • दस्तावेज़ संख्या (Document Number)
  • दस्तावेज़ की तारीख (Date of Document)
  • जारीकर्ता का विवरण (Issuer Details)
  • भुगतानकर्ता का विवरण (Payer Details)
  • प्राप्त राशि (Received Amount), और
  • अन्य महत्वपूर्ण विवरण आदि।

4. डेबिट नोट (Debit Note):

डेबिट नोट एक ऐसा दस्तावेज़ है जिसका उपयोग किसी के खाते को डेबिट करने के लिए किया जाता है और यह किसी के खाते की शेष राशि को समायोजित करने में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। इसमें वह सारी जानकारी होती है जो बताता है कि किसी के खाते को क्यों डेबिट किया गया है। डेबिट नोट आमतौर पर खरीद वापसी में जारी किया जाता है। ध्यान दें: डेबिट नोट प्राप्त करने वाले व्यक्ति के लिए, यह क्रेडिट नोट बन जाता है।

डेबिट नोट की सामग्री:

  • दस्तावेज़ संख्या (Document Number)
  • दस्तावेज़ की तारीख (Date of Document)
  • विक्रेता का विवरण (Seller Details)
  • क्रेता का विवरण (Buyer Details)
  • दस्तावेज़ जारी करने का कारण (Reason for issuing document)
  • आइटम विवरण (Item Description)
  • मात्रा (Quantity)
  • मूल्य (Price)
  • कुल (Total), और
  • अन्य महत्वपूर्ण विवरण आदि।

5. क्रेडिट नोट (Credit Note):

क्रेडिट नोट एक ऐसा दस्तावेज़ है जिसका उपयोग किसी के खाते को क्रेडिट करने के लिए किया जाता है और यह किसी के खाते को समायोजित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। क्रेडिट नोट में वह सभी जानकारी होती है जो बताता है कि किसी के खाते को क्यों क्रेडिट किया गया है। आम तौर पर, क्रेडिट नोट का इस्तेमाल बिक्री रिटर्न में किया जाता है। ध्यान दें: क्रेडिट नोट प्राप्त करने वाले व्यक्ति के लिए यह डेबिट नोट बन जाता है।

क्रेडिट नोट की सामग्री:

  • दस्तावेज़ संख्या (Document Number)
  • दस्तावेज़ की तारीख (Date of Document)
  • विक्रेता का विवरण (Seller Details)
  • क्रेता का विवरण (Buyer Details)
  • दस्तावेज़ जारी करने का कारण (Reason for issuing document)
  • आइटम विवरण (Item Description)
  • मात्रा (Quantity)
  • मूल्य (Price)
  • कुल (Total), और
  • अन्य महत्वपूर्ण विवरण आदि।

6. चेक (Cheque):

चेक एक दस्तावेज/साधन है जिसका उपयोग बैंक के माध्यम से किसी को भुगतान करने, किसी से भुगतान प्राप्त करने, नकद निकालने, आदि के लिए किया जाता है और इसे बैंक द्वारा अपने ग्राहक को दिया जाता है। यह तब तक वैध नहीं होता जब तक कि इस पर संबंधित व्यक्तियों के हस्ताक्षर न हों और इसमें तारीख बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। इसमें तीन पक्ष शामिल होते हैं, एक बैंक, दूसरा जारीकर्ता, तीसरा प्राप्तकर्ता और जब तीनों मिलते हैं, तो यह काम करता है।

चेक की सामग्री:

  • दस्तावेज़ दिनांक (Document/Instrument Date)
  • दस्तावेज़ संख्या (Document/Instrument Number)
  • बैंक विवरण (Bank Details)
  • प्राप्तकर्ता का विवरण (Receiver Details)
  • भुगतानकर्ता का विवरण (Issuer Details)
  • जारीकर्ता के हस्ताक्षर (Signature of the Issuer), और
  • अन्य महत्वपूर्ण विवरण आदि।

7. जमा पर्ची (Deposit slip):

जमा पर्ची बैंक द्वारा दिया जाने वाला एक दस्तावेज है जो किसी व्यक्ति द्वारा बैंक में पैसा जमा करने पर दिया जाता है और यह साबित करता है कि बैंक को ग्राहक से पैसा प्राप्त हो गया है। इसमें खाता संख्या, तारीख, राशि, नोटों की संख्या, बैंक कैशियर के हस्ताक्षर, आदि शामिल होते हैं।

जमा पर्ची की सामग्री:

  • जमा तिथि (Deposit Date)
  • जमा राशि (Deposit Amount)
  • बैंक खाते का विवरण (Bank Account Details)
  • बैंक कैशियर के हस्ताक्षर (Signature of bank cashier), और
  • अन्य महत्वपूर्ण विवरण आदि।

8. बैंक स्टेटमेंट (Bank statement):

बैंक स्टेटमेंट एक दस्तावेज है जो बैंक अपने ग्राहक को देता है और इसे अकाउंट स्टेटमेंट भी कहते हैं। इसमें ग्राहक द्वारा अपने खाते में किए गए सभी लेन-देन का विवरण होता है। यह एक खाता होने के कारण इसमें डेबिट और क्रेडिट पक्ष होता है। डेबिट पक्ष में वे लेन-देन होते हैं जो खाते की राशि को घटाते हैं और क्रेडिट पक्ष में वे लेन-देन होते हैं जो खाते की राशि को बढ़ाते हैं। सरल भाषा में कहें तो डेबिट पक्ष में निकासी और क्रेडिट पक्ष में जमा राशि दिखाई जाती है।

बैंक स्टेटमेंट की सामग्री:

  • खाता विवरण (Account Details)
  • बैंक विवरण (Bank Details)
  • अवधि (Period)
  • तारीखें (Dates)
  • लेनदेन विवरण (Transaction Details)
  • डेबिट पक्ष (Debit Side)
  • क्रेडिट पक्ष (Credit Side)
  • शेष राशि (Balance), और
  • अन्य महत्वपूर्ण विवरण।

ध्यान दें: सभी स्रोत दस्तावेजों का वर्णन ऊपर नहीं किया गया है।


ये भी पढ़ें:


QNA/FAQ

Q1. विपक्ष के लिए बिक्री बिल को क्या कहा जाएगा?

Ans: विपक्ष के लिए बिक्री बिल को क्रय बिल कहा जाएगा।

Q2. खरीद बिल क्या है?

Ans: खरीद बिल एक दस्तावेज है जो खरीदारी के समय प्राप्त होता है।

Q3. बिक्री बिल क्या है?

Ans: बिक्री बिल एक ऐदस्तावेज़ है जिसका इस्तेमाल उत्पाद बेचते समय किया जाता है।

Q4. जो क्रेडिट नोट को प्राप्त करता है उसके लिया क्रेडिट नोट क्या बन जाता है ?

Ans: डेबिट नोट

Q5. जर्नल प्रविष्टि के लिए स्रोत दस्तावेज के कुछ उदाहरण लिखिए।

Ans: जर्नल प्रविष्टि के लिए स्रोत दस्तावेज़ के कुछ उदाहरण निम्नलिखित हैं:

1. बिक्री बिल (Sale Bill)
2. खरीद बिल (Purchase Bill)
3. नकद रसीद (Cash Receipt)
4. डेबिट नोट (Debit Note)
5. क्रेडिट नोट (Credit Note)
6. चेक (Cheque)
7. जमा पर्ची (Deposit slip)
8. बैंक स्टेटमेंट (Bank statement)

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